इंदौर ।  देवी महालक्ष्मी के पूजन के दिन दीपावली से छह दिन पहले 18 अक्टूबर मंगलवार को खरीदी का महामुहूर्त पुष्य नक्षत्र 26 घंटे 48 मिनट रहेगा। ज्योर्तिविदों के अनुसार पुष्य नक्षत्र के साथ दिनभर रहने वाले सिद्ध और साध्य योग में सोना-चांदी, भूमि-भवन, बहीखाते सहित सभी प्रकार की चल-अचल संपत्ति की खरीदारी शुभ फलदायी होगी। इस दिन सूर्यदेव मीन राशि से निकलकर तुला में प्रवेश करेंगे। इस दिन को सूर्य की तुला सक्रांति और भी खास बना रही है। इस मौके पर दीपावली के लिए सजे बाजारों में भी जमकर खरीदारी होगी। ज्योर्तिविद् कान्हा जोशी के अनुसार कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की अष्टमी के दिन पुष्य नक्षत्र 18 अक्टूबर को सुबह 5.14 बजे से अगले दिन 19 अक्टूबर को सुबह 8.02 बजे तक रहेगा। 18 अक्टूबर को पूरे दिन और रात पुष्य नक्षत्र रहेगा। इस दिन सिद्ध योग शाम 4.53 बजे तक रहेगा। इसके बाद साध्य योग लगेगा। ज्योर्तिविद् शिवप्रसाद तिवारी के अनुसार नक्षत्रों के राजा पुष्य में किसी भी नए काम की शुरुआत शुभ मानी जाती है। यह कारण है कि इस दिन बहीखाते और कलम दवात खरीदना बहुत शुभ होता है। इससे कामकाज में शुभता बढ़ती है। बहीखाता या कलम-दवात खरीदने के बाद इनकी विधिवत पूजा करना चाहिए।

इस बार रूप चतुर्दशी और दीपावली एक दिन

इस बार 24 अक्टूबर को रूप चतुर्दशी और दीपावली एक दिन होगी। 24 अक्टूबर को चतुर्दशी तिथि शाम 5.27 बजे तक रहेगी। इसके बाद अमावस्या लगेगी जो अगले दिन 25 अक्टूबर को शाम 4.18 बजे तक रहेगी। ऐसे में पर्वकाल (प्रदोष काल) में अमावस्या तिथि 24 अक्टूबर को होने से दीपावली पर्व इसी दिन मनेगा। इसी दिन रूप चतुर्दशी का अभ्यंग स्नान भी सूर्योदय से पहले होगा। 24-25 अक्टूबर की रात 2.30 बजे से 25 अक्टूबर को पढ़ने वाले सूर्य ग्रहण का सूतक लगेगा। 25 अक्टूबर को खंडग्रास सूर्यग्रहण का स्पर्श दोपहर 2.28 बजे और मध्य शाम 4.30 बजे होगा। ग्रहण की समाप्ति शाम 6.32 बजे होगी।