
राजनगर में बुधवार को भारतीय जनता पार्टी की ओर से ऑपरेशन सिंदूर की सफलता व भारतीय सेना के शौर्य के सम्मान में तिरंगा यात्रा निकाली गई। तिरंगा यात्रा की अगुवाई पूर्व मुख्यमंत्री व स्थानीय विधायक चंपई सोरेन ने किया।
हदेव चौके से रामदू चौक तक निकाली गई तिरंगा यात्रा
तिरंगा यात्रा सहदेव चौके से रामदू चौक तक निकाली गई। इस दौरान वीर शहीद सिदो कान्हू की प्रतिमा पर चंपई सोरेन ने माल्यार्पण किया। यात्रा में हजारों की संख्या में तिरंगा झंडा थामे महिला पुरुष शामिल हुए। इस दौरान भारतीय सेना जिंदाबाद, पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगाए।
चंपई ने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि पाकिस्तान पोषित आतंकवादियों ने जिस तरह से कश्मीर के पहलगाम में निर्दोष पर्यटकों का धर्म पूछ कर निर्मम हत्या की थी। उससे देश की 140 करोड़ जनता में भारी आक्रोश था।
पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कुशल नेतृत्व एवं भारतीय सेना के अचूक रणनीति से ऑपरेशन सिंदूर सफल रहा। भारतीय सेना ने आतंकवादियों के ठिकाने व पाकिस्तान की एयरबेस को तहस-नहस कर दिया, जिससे पाकिस्तान घुटनों पर आ गया और युद्ध विराम के लिए गिड़गिड़ाया।
पाकिस्तान की तीन पीढ़ियां रखेंगी याद
ऑपरेशन सिंदूर ने पाकिस्तान को ऐसा जख्म दिया कि उनकी तीन पीढ़ी तक भारत की इस कार्रवाई को याद रखेंगी। चंपई सोरेन ने इसके लिए पीएम मोदी के कुशल नेतृत्व व भारतीय सेना के शौर्य को सैल्यूट किया।
उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर ने पहलगाम में अपने सिंदूर को खोने वाली महिलाओं को गर्व करने का क्षण दिया। यह सब भारत के ओजस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र भाई मोदी के कुशल नेतृत्व में ही संभव हो पाया।
पीएम मोदी ने इसके लिए सेना को खुली छूट दी थी और भारतीय सेना के पराक्रम को आज पूरी दुनिया ने देखा।
तिरंगा यात्रा के दौरान हाता चाईबासा मुख्य मार्ग व सरायकेला राजनगर मार्ग पर काफी देर तक जाम की स्थिति देखी गई। कार्यक्रम को लेकर पुलिस की तैयारी नाकाफी देखी गई।
पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के बाद भी पर्याप्त संख्या में पुलिस बल नहीं थी। जिससे लोगों को काफी देर तक जाम में फंसते देखा गया। तिरंगा यात्रा में सिमल सोरेन, बबलू सोरेन, जिप सदस्य मालती देवगम, छायाकांत गोराई सहित हजारों की संख्या में महिला पुरुष शामिल थे।