अहमदाबाद | तौकते चक्रवात से गुजरात में बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है और इसका सबसे अधिक असर दक्षिण गुजरात और सौराष्ट्र में हुआ है| चक्रवात से बागायती फसलों समेत कृषि फसलें बर्बाद हो गई हैं| जिसमें आम, केला, चीकू, नारियल और कृषि फसलों में बाजरी, धान, मूंगफली शामिल हैं| अनुमान के मुताबिक राज्य में चक्रवात से 5000 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा का नुकसान हुआ है| बता दें कि सोमवार और मंगलवार को तौकते चक्रवात ने गुजरात में बड़े पैमाने पर तबाही मचाही थी| चक्रवात जहां से गुजरा वहां सब कुछ बर्बाद कर दिया| चक्रवात के बाद बुधवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मुख्यमंत्री विजय रूपाणी के साथ गुजरात के प्रभावित क्षेत्रों का हवाई निरीक्षण करने के बाद अहमदाबाद में उच्चस्तरीय बैठक की थी| पीएम मोदी ने फौरी सहायता के तौर पर गुजरात को एक हजार करोड़ रुपए की सहायता का ऐलान किया है| साथ ही मृतकों के परिजनों को 2 लाख और घायलों को रु.50000 देने का ऐलान किया था| बाद में गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने मृतकों के परिजनों को 4-4 लाख रुपए और घायलों को 50-50 हजार रुपए की सहायता देने का ऐलान किया था| इस प्रकार चक्रवात से मृत लोगों के परिजनों को 6-6 लाख और घायलों को 1-1 लाख रुपए सहायता राशि मिलेगी| इसके अलावा चक्रवात से हुए नुकसान के पुनर्निर्माण के लिए केन्द्र गुजरात सरकार की मदद करेगा| केन्द्र सरकार की टीम भी गुजरात में चक्रवात से हुए नुकसान का सर्वे करेगी| फिलहाल चक्रवात से 5000 करोड़ से अधिक के नुकसान का अनुमान है और यह आंकड़ा अभी और बढ़ने की संभावना है| नुकसानी का सही आंकड़ा सर्वे पूर्ण होने के बाद ही सामने आएगा| अमरेली, भावनगर और गिर सोमनाथ में चक्रवात से सबसे अधिक नुकसान हुआ है| चार जिलों में ऊर्जा क्षेत्र को बड़ा नुकसान हुआ है| नुकसानी का आंकलन करने के लिए कृषि, राजस्व, ऊर्जा और वित्त विभाग के अधिकारी सर्वे कर रहे हैं| कृषि और ऊर्जा क्षेत्र को चक्रवात से सबसे अधिक नुकसान होने का अनुमान है| जिला कलेक्टर से नुकसान की रिपोर्ट मिलने के बाद राज्य सरकार आर्थिक सहायता की केन्द्र सरकार से दरखास्त कर सकती है|