कोलकाता: लंबे नाखून के जुनून के चलते एक बुजुर्ग का हाथ लकवाग्रस्त हो गया। दरअसल, दशकों पहले 1982 में मुरारी आदित्य (82) ने गिनिज बुक में विश्व के सर्वाधिक लंबे नाखून (कुल 180 इंच) का रिकॉर्ड कायम किया था लेकिन बाद में उन्हें अपने नाखूनों को काटना पड़ा। वह भलीभांति जानते थे कि अपने नाखूनों को लेकर वह अन्य कोई रिकॉर्ड नहीं बना सकते। इसके बावजूद, उन्होंने वर्ष 1986 में फिर से नाखून बढ़ाना शुरू कर दिया।

आदित्य ने बताया, ‘नाखूनों ने मेरे जीवन में मुझे काफी कुछ दिया। फिर मैं इन्हें अब कैसे काट सकता हूं? नाखूनों के बगैर मैं अधूरा महसूस करता हूं। इन्हें लेकर मैं बहुत भावुक हूं।’ 120 इंच लंबे नाखूनों (सभी उंगलियों को मिलाकर) के भार के कारण उनका बायां हाथ काफी पतला और लकवाग्रस्त हो गया है।

उनकी उंगलियां सख्त हो गई हैं और उंगलियां चलाना मुश्किल हो गया है। वह हाथ से कोई काम भी नहीं कर पाते। चलने फिरने, सोने अथवा अपने शरीर को हिलाने डुलाने के लिए भी उन्हें अतिरिक्त सावधानी बरतनी पड़ती है ताकि उनकी इस कीमती विरासत को कोई नुकसान नहीं पहुंचे। इनका वजन करीब आधा किलोग्राम अनुमानित किया गया है।

जादवपुर में उनके पड़ोसी उन्हें ‘नोख काकू’ (नाखून वाले चाचा) के नाम से जानते हैं जो उनकी इस विरासत को दिखाकर गर्व महसूस करते हैं। आदित्य ने कहा, ‘लेकिन.. मैं अपने नाखूनों के साथ सड़क किनारे नहीं बैठ सकता और मैं इनके लिए रकम भी नहीं चाहता। मैं इन्हें पैसा कमाने के लिए प्रयोग करने में असमर्थ हूं। मैं कोई काम नहीं कर सकता लेकिन गुजारा करने के लिए सरकार आगे बढ़कर मुझे कोई मदद भी नहीं कर रही है।’ आदित्य ने अपने इस जुनून के लिए 80 के दशक में सरकारी नौकरी तक छोड़ दी थी। लोगों का ध्यान खींचने की क्षमता के चलते उन्होंने नाखूनों को ‘रजनी गंधा’ नाम दिया है। अर्जेंटीना की फुटबॉल टीम के बहुत बड़े प्रशंसक आदित्य ने अपने नाखूनों को टीम के रंग ‘सफेद और हरे’ रंग से रंगा हुआ है।