भोपाल। आम लोगों की रक्षा और गुंडे-बदमाशों से हर दिन दो-दो हाथ करने वाले मध्यप्रदेश पुलिस के जवान कंडम, जर्जर और जीर्ण-शीर्ण हो चुके थानों में काम करने को मजबूर हैं। थानों के हालात कैसे हैं ये बिलकिसगंज और बैरागढ़ से समझा जा सकता है, वैसे पूरे प्रदेश में 236 थाने जर्जर दशा में पहुंच चुके हैं। वहीं प्रदेश में 50 से ज्यादा थाने किराए की बिल्डिंग में हैं।

एक तरफ तो गृह विभाग पुलिस को आधुनिक बनाने के लिए साजो-सामान खरीदने के दावे करता है, वहीं हकीकत ये है कि 46 जिलों में ज्यादातर अब बैठने के लिहाज से भी जानलेवा माने जा रहे हैं। हालांकि इन्हें लेकर गृह विभाग ने अभी कोई योजना नहीं बनाई है। यह खुलासा हुआ है 2015 में प्रदेश के जर्जर, भवन विहीन और जीर्ण-शीर्ण थानों को लेकर पुलिस मुख्यालय द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट में। हालांकि प्रदेश के गृह मंत्री बाबूलाल गौर ने ऐसे हालात से इंकार करते हुए कहा कि थानों की स्थिति ठीक है।

थाना बिलकिसगंज जिला सीहोर

हालत :- सीहोर जिले में स्थित बिलकिसगंज थाने की मालखाने की छत नीचे बैठ चुकी है। पन्नियां डालकर छत रोकने की कोशिश। बारिश में दीवारें तर होने से करंट उतर आता है। पुलिस स्टाफ क्वार्टर में कबेलू की छत से अक्सर सांप निकल आते हैं।

थाना बैरागढ़ जिला भोपाल

हालत :- राजधानी के बैरागढ़ थाने की पानी की टंकी ओवरफ्लो होने पर थाने की छत से पानी रिसने लगता है। दीवारों में बड़ी दरारें हैं। बारिश में पानी भर जाने से विवेचना कक्ष बंद करना पड़ता है।

दो जर्जर तो चार किराए की बिल्डिंग में

राजधानी में बैरागढ़ और शाहजहांनाबाद जर्जर थानों में है। शाहजहांनाबाद थाने के राजधानी के अंदर होने से नया थाना बनाने का काम शुरू हो गया है, लेकिन बैरागढ़ पर किसी का ध्यान नहीं है। इसके अलावा राजधानी में चार थाने ऐसे है जो किराये के भवन के भरोसे चल रहे हैं। इनमें चूनाभट्टी, अयोध्यानगर,कोहेफिजा और गौतमनगर थाना शामिल है।

दमोह में सबसे ज्यादा बदहाल थाने

दमोह में तो सबसे ज्यादा 13 थाने कंडम है। इसके बाद नंबर है भिंड का जहां के 12 थाने कंडम हो चुके हैं, तीसरे नंबर दस जर्जर और जीर्ण शीर्ष थानों के साथ धार और ग्वालियर है तो चौथे नंबर पर 9 जर्जर-कंडम व जीर्ण-शीर्ण हो चुके थानों के साथ विदिशा और पन्ना।

पांचवे नंबर पर इंदौर है जहां के 6 थाने जूनी इंदौर, सराफा, पंढरीनाथ, बडगोदा, हातोद के साथ यातायात (पश्चिम) थाना भी जर्जर हो चुका है। यदि बात ऐसे जिले की कि जाएं जहां सबसे ज्यादा थाने किराए की बिल्डिंग में चल रहे है तो सात थानों के साथ दमोह जिला है।

236 थानों की स्थिति

स्थितिथानों की संख्या

जर्जर -- 137

कंडम -- 35

जीर्ण – शीर्ण12

भवन विहीन – 52