भारत सरकार के एक अधिकारी ने कहा कि रूस सस्ते दाम पर कच्चा तेल बेच रहा है। इसलिए हम रूस से खरीद जारी रखेंगे। उन्होंने कहा कि भारत अगर रूस से खरीदारी बंद कर देता है एवं पूरी दुनिया भी उसी राह पर चलने लगी तो कच्चे तेल की कीमतें और बढ़ेंगी।यूक्रेन युद्ध शुरू होने के बाद अमेरिका और अन्य यूरोपीय देशों ने मॉस्को पर विभिन्न प्रकार के प्रतिबंध लगाने के साथ रूस से कच्चा तेल खरीदना कम कर दिया। हालांकि, भारत का रुख इसके उलट रहा। इस दौरान भारतीय रिफाइनरी कंपनियों ने रूस से अधिक मात्रा में कच्चा तेल खरीदा।भारत ने मई में 8.19 लाख बैरल प्रति दिन कच्चा खरीदा, जबकि अप्रैल में यह आंकड़ा 2.77 लाख बीपीडी और एक साल 33,000 बीपीडी रहा था। इसके साथ ही सऊदी अरब को पीछे छोड़ते हुए रूस भारत का दूसरा सबसे बड़ा तेल आपूर्ति वाला देश बन गया। इराक पहले स्थान पर है।