नई दिल्ली। अपनी कुर्सी बचाने के लिए सुप्रीम कोर्ट से गुहार लगाने वाले अजीज कुरैशी को आखिरकार केंद्र सरकार ने राज्यपाल पद से बर्खास्त कर दिया। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने शनिवार को उन्हें मिजोरम के राज्यपाल पद से हटा दिया। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी को मिजोरम का अतिरिक्त प्रभार सौंपा गया है।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कुरैशी को संप्रग सरकार ने 15 मई, 2012 को उत्तराखंड का राज्यपाल नियुक्त किया था। पिछले साल चुनाव के बाद जब केंद्र में राजग सरकार का गठन हुआ तो तत्कालीन गृह सचिव अनिल गोस्वामी ने उन्हें पद से त्यागपत्र देने को कहा। त्यागपत्र से इंकार करते हुए 74 वर्षीय कुरैशी सुप्रीम कोर्ट चले गए। अदालत में उन्होंने कहा कि 30 जुलाई को गृह सचिव ने उन्हें अपना त्यागपत्र देने का निर्देश दिया।

साथ ही यह भी कहा कि ऐसा न करने पर उन्हें बर्खास्त कर दिया जाएगा। इसके बाद आठ अगस्त को गोस्वामी ने एक बार फिर फोन कर इस्तीफा देने को कहा। इसके जवाब में गोस्वामी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि कुरैशी का आचरण राज्यपाल पद की गरिमा के अनुकूल नहीं था। इसीलिए उन्होंने राज्यपाल को त्यागपत्र देने का सुझाव दिया।

मिजोरम ने नौ महीने में छह राज्यपालों को जाते देखा

केंद्र में नरेंद्र मोदी सरकार के गठन के बाद से मिजोरम राज्यपालों के लिए वाटरलू साबित हो रहा है। पूर्वोत्तर के इस छोटे से राज्य ने पिछले नौ महीने में छह राज्यपालों को यहां से रुखसत होते देखा है। कुरैशी से पहले के पांच राज्यपालों ने भी यहां अपना कार्यकाल पूरा नहीं किया।

वी. पुरुषोत्तम: पिछले साल जुलाई में नगालैंड के राज्यपाल का तबादला मिजोरम कर दिया गया। कार्यभार संभालने से इंकार करते हुए त्यागपत्र।

कमला बेनीवाल: मोदी से छत्तीस का रिश्ता रखने वाली बेनीवाल का जुलाई में ही गुजरात से मिजोरम तबादला किया गया। एक माह बाद उन्हें बर्खास्त कर दिया गया।

के. शंकरनारायणन: अगस्त में महाराष्ट्र से मिजोरम तबादला किए जाने का आदेश आने के तत्काल बाद त्यागपत्र दे दिया।

वीके दुग्गल: मणिपुर के राज्यपाल दुग्गल को मिजोरम का अतिरिक्त कार्यभार दिया गया। 20 दिन बाद 28 अगस्त को त्यागपत्र।

केके पॉल: मेघालय के राज्यपाल को मिजोरम की अतिरिक्त जिम्मेदारी दी गई। बाद में कुरैशी की जगह लेने के लिए उत्तराखंड भेजा गया।

ये राज्यपाल भी हटाए गए

केंद्र में राजग की सरकार बनने के बाद संप्रग शासन में नियुक्त कई राज्यपालों को हटा दिया गया। कुरैशी से पहले मोदी सरकार ने कमला बेनीवाल को भी बर्खास्त कर दिया था। इससे पहले पूर्व कांग्रेस नेता वीरेंद्र कटारिया को पुदुचेरी के उपराज्यपाल पद से हटा दिया गया।

अन्य राज्यपालों में एमके नारायणन (प. बंगाल), अश्विनी कुमार (नगालैंड), बीएल जोशी (उत्तर प्रदेश), शेखर दत्त (छत्तीसगढ़) और बीवी वांचू (गोवा) ने तत्कालीन केंद्रीय गृह सचिव का फोन आने के बाद इस्तीफा दे दिया था।