भोपाल । इंदौर और भोपाल नगर निगम क्षेत्र के परिसीमन पर लंबे समय से चला आ रहा विवाद राजभवन की पहल के बाद समाप्त हो गया है। राज्यपाल रामनरेश यादव ने सरकार के उस प्रस्ताव पर अपनी मुहर लगा दी, जिसमें इन निकायों के परिसीमन की अधिसूचना के लिए राजभवन से अनुमोदन प्रदान करने की अपील थी। परिसीमन को राजभवन की हरी झंडी मिलने के बाद यहां महापौर सहित निकायों में चुनाव कराने का रास्ता साफ हो गया है।

अधिसूचना दिसंबर में

इंदौर, भोपाल, जबलपुर और छिंदवा़डा में परिसीमन का विवाद समाप्त होने के बाद यहां दिसंबर में निर्वाचन की अधिसूचना जारी हो सकती है। राज्य निर्वाचन आयोग ने पूर्व में ही इंदौर को छो़़डकर शेष निकायों को दिसंबर में होने वाले दूसरे चरण में शामिल किया था। इस बीच मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने एक याचिका पर सुनवाई करते हुए परिसीमन पर रोक लगा दी थी। न्यायालय ने राज्यपाल के नाम से जारी होने वाली अधिसूचना में कलेक्टरों के हस्तक्षेप पर आपत्ति जताई थी। फैसला आने के बाद इन जिलों में निर्वाचन गतिविधियों पर रोक लगा दी गई थी।

संवैधानिक नियमों का पालन

राज्यपाल को भेजे प्रस्ताव में कहा गया था कि उक्त जिलों के कलेक्टर ने संविधान में दी गई व्यवस्था के अनुसार परिसीमन से पूर्व दावा आपत्तियों का निराकरण किया था। आरक्षण नियमों के तहत वार्डो में वर्ग विशेष के लिए पद निर्धारित हुए हैं। विधिवत सुनवाई के बाद इन निकायों के परिसीमन की अधिसूचना जारी की गई। राजभवन ने सरकार की ओर से की गई हर कार्रवाई का सूक्ष्म अध्यन करने के बाद औपचारिक रूप से अनुमोदन प्रदान किया है।

नए सिरे से होगा वार्डो का आरक्षण

इंदौर [नप्र]। सीमा विस्तार के प्रस्ताव को मंजूरी मिलने के बाद चुनाव को लेकर प्रशासन अब नए सिरे से कवायद करेगा। वार्ड आरक्षण पुन: किए जाने की पुष्टि भी कलेक्टर ने कर दी है। सीमा विस्तार का नोटिफिकेशन अगले दो दिन में होगा। उसके बाद प्रशासन वार्ड आरक्षण, परिसीमन सहित अन्य प्रक्रियाओं को अंजाम देगा। आरक्षण फिर से करने का फैसला नगरीय प्रशासन विभाग ने कलेक्टर पर छो़़डा था। चुनाव को लेकर नए सिरे से मतदाता सूची में नाम जो़़डे जाएंगे, इसलिए वार्ड विभाजन और आरक्षण भी जरूरी हो जाएगा। इससे पहले जुलाई में हुए वार्ड आरक्षण में 85 में से 42 वार्ड महिला वर्ग के लिए आरक्षित हुए थे। सामान्य वर्ग के 48 वार्डो में से 22 में महिलाओं के नाम रहे। अब वार्डो की तस्वीर नए सिरे से होंगे वाले आरक्षण से ही साफ होगी।

अध्ययन करेंगे

सीमा विस्तार को लेकर कोर्ट में याचिका लगाने वाले एडवोकेट अनिल त्रिवेदी ने बताया कि राज्यपाल ने क्या निर्देश दिए है। उसका अध्ययन किया जाएगा। उसके बाद आगे की रणनीति तैयार करेंगे।

शुरू करेंगे प्रक्रिया

आकाश त्रिपाठी, कलेक्टर व जिला निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि सीमा विस्तार को राज्यपाल की मंजूरी के बाद वार्ड आरक्षण की प्रक्रिया नए सिरे से होगी। मतदाता सूची में नाम भी जोड़े जाएंगे।